बाराबंकी,लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को बाराबंकी में आयोजित ‘एकता यात्रा’ कार्यक्रम के दौरान प्रदेश के लिए 1,734 करोड़ रुपये की 254 विकास परियोजनाओं का लोकार्पण और शिलान्यास किया। यह कार्यक्रम लौहपुरुष सरदार वल्लभभाई पटेल की 150वीं जयंती समारोह अभियान के अंतर्गत आयोजित हुआ। मुख्यमंत्री ने इस अवसर पर सरदार पटेल और बाबा साहब डॉ. भीमराव आम्बेडकर की प्रतिमा पर पुष्प अर्पित कर श्रद्धांजलि दी तथा विभिन्न विभागों की प्रदर्शनी का अवलोकन किया। उन्होंने योजनाओं के लाभार्थियों को प्रतीकात्मक चेक और प्रमाण-पत्र भी वितरित किए।मुख्यमंत्री ने कहा कि डबल इंजन की सरकार प्रदेश में विरासत का सम्मान करते हुए विकास के लिए पूरी प्रतिबद्धता से कार्य कर रही है। उन्होंने बताया कि राज्य सरकार बाबा लोधेश्वर नाथ की पावन धरा को श्री काशी विश्वनाथ धाम की तर्ज पर महादेवा कॉरिडोर के रूप में विकसित कर रही है। वहीं, हॉकी के क्षेत्र में भारत का नाम रोशन करने वाले बाराबंकी के लाल केडी सिंह ‘बाबू’ की हवेली को एक भव्य संग्रहालय के रूप में परिवर्तित किया जा रहा है।मुख्यमंत्री ने कहा कि यह वर्ष भारत की गौरवगाथा को पुनः स्थापित करने वाला है। अखंड भारत के शिल्पी सरदार वल्लभभाई पटेल की 150वीं जयंती, ‘वंदे मातरम्’ के 150 वर्ष, भगवान बिरसा मुंडा की 150वीं जयंती और संविधान के 75 वर्ष पूरे होने के साथ यह वर्ष देश की एकता, अखंडता और सांस्कृतिक वैभव का प्रतीक बन गया है। उन्होंने कहा कि 25 नवम्बर को 500 वर्षों की प्रतीक्षा के बाद अयोध्या में श्रीरामलला के मंदिर पर केसरिया ध्वज फहराया जाएगा—यह भारत की आत्मा के पुनर्जागरण का क्षण होगा।अंग्रेजों द्वारा भारत को विभाजित करने की साजिशों का उल्लेख करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि लौहपुरुष सरदार पटेल की अद्भुत सूझबूझ और दृढ़ संकल्प के कारण 563 रियासतें शांतिपूर्वक भारत का हिस्सा बनीं। उन्होंने कहा कि आजादी के समय विभाजन ने भारत को दो हिस्सों में बाँटा, लेकिन पटेल ने अपने साहस और कुशल कूटनीति से भारत को एक सूत्र में पिरो दिया।मुख्यमंत्री ने कहा कि राष्ट्रीय एकता केवल एक शब्द नहीं, बल्कि हमारी आन, बान और शान है। बंकिम चन्द्र चट्टोपाध्याय द्वारा रचित ‘वन्दे मातरम्’ गीत ने स्वतंत्रता संग्राम को एक नई चेतना दी। उन्होंने कहा कि ‘वन्दे मातरम्’ का विरोध भारत माता का विरोध है, क्योंकि यह गीत किसी धर्म या जाति विशेष का नहीं, बल्कि भारत की धरती की वंदना का प्रतीक है। मुख्यमंत्री ने लोगों से आग्रह किया कि वे राष्ट्रगीत से जुड़कर राष्ट्रवाद की भावना को सशक्त करें और देश की एकता-अखंडता के प्रतीक स्वरूप इसका सम्मान करें।मुख्यमंत्री ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में देश ने पिछले 11 वर्षों में अभूतपूर्व विकास यात्रा तय की है। भारत आज गरीबों के कल्याण, विरासत के संरक्षण और आत्मनिर्भरता के मार्ग पर तेजी से आगे बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री ने सरदार पटेल की जयंती को ‘राष्ट्रीय एकता दिवस’ के रूप में स्थापित किया और गुजरात के केवड़िया में दुनिया की सबसे ऊंची प्रतिमा ‘स्टैच्यू ऑफ यूनिटी’ बनवाकर सरदार पटेल को सच्ची श्रद्धांजलि दी।मुख्यमंत्री ने कहा कि बाबा साहब डॉ. भीमराव आम्बेडकर के पंचतीर्थों का विकास कर प्रधानमंत्री ने उन्हें वैश्विक सम्मान दिलाया है। दिल्ली, मुम्बई, नागपुर और इंग्लैंड में बाबा साहब से जुड़े स्थलों को भव्य स्मारक व अनुसंधान केंद्रों के रूप में विकसित किया गया है। इसी तरह उत्तर प्रदेश सरकार काशी विश्वनाथ धाम, अयोध्या में श्रीरामलला मंदिर, लोधेश्वर महादेव कॉरिडोर, गोला गोकर्णनाथ, मथुरा-वृन्दावन-बरसाना-गोकुल-गो
मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने किया 1,734 करोड़ की परियोजनाओं का लोकार्पण-शिलान्यास
————————-