प्रयागराज 22 फरवरी संस्कार भारती प्रयागराज एवं संस्कार भारती प्रयागराज के संयुक्त तत्वावधान एवं उत्तर मध्य क्षेत्र सांस्कृतिक केन्द्र प्रयागराज के सहयोग माघमेला-2024 में आयोजित 11दिवसीय सांस्कृतिक उत्सव “अवलोकन तीरथराजु चलो रे” में “रामोत्सव” के अंतर्गत वरिष्ठ कवियत्री जयश्री श्रीवास्तव की अध्यक्षता में राष्ट्रीय कवि- सम्मेलन में का आयोजन किया गया। इस कवि सम्मेलन के मुख्य अतिथि अयोध्या के न्यायमूर्ति प्रशान्त शुक्ल, सुरेश शर्मा, निदेशक उत्तर मध्य क्षेत्र सांस्कृतिक केन्द्र तथा साकेत ग्रुप के प्रोपराइटर अभिषेक वर्मा का अंगवस्त्र से स्वागत संस्कार भारती काशी-प्रांत के संगठन मंत्री दीपक शर्मा तथा प्रयागराज विभाग संयोजक सुशील राय ने किया। मंच के माध्यम से अतिथिगण ने वरिष्ठ कवि जनकवि प्रकाश के 52वें काव्य-संग्रह “गंगा-अवतरण” का विमोचन किया।
कार्यक्रम का शुभारंभ प्रीता बाजपेई ने सरस्वती वंदना से किया। “सबकुछ था मेरे पास लेकिन राम नहीं था” सुनाकर रामलोचन सांवरिया ने श्रोताओं को रोमांचित कर दिया। वरिष्ठ कवि एवं संस्कार भारती के अध्यक्ष योगेन्द्र कुमार मिश्र ने “यूँ तो यह सपना है लेकिन शायद सच हो जाये। हो राग-द्वेष से मुक्त देश ये स्वर्ग-तुल्य हो जाये।जन-जन को त्रितापों से मिल जाये यहाँ पर मुक्ति। हो सुख-शांति से युक्त यहाँ पर हर कोई व्यक्ति। राम करे इस राम देश में रामराज्य हो जाये।” पढ़कर श्रोताओं की तालियां बटोरीं। चंदौली के सुरेश अकेला, गुड़गांव से सुदीप शुक्ल, प्रयागराज के धनंजय शाश्वत, संतोष शुक्ल समर्थ, कमलेश पाण्डेय कमल, डा•नीलिमा मिश्रा, डा•राजेन्द्र त्रिपाठी रसराज, रामलोचन सांवरिया, रचना सक्सैना, जितेन्द्र मिश्र जलज, शम्भूनाथ नाथ त्रिपाठी अंशुल ने काव्यपाठ किया। सफल संचालन डा•पीयूष मिश्र “पीयूष” ने किया।
राष्ट्रीय चित्रकार शिविर के संयोजक कलाकार रवीन्द्र कुशवाहा ने बताया कि कार्यशाला में बने चित्रों की प्रदर्शनी का आज राज्य ललित कला अकादमी की निदेशक डॉ श्रद्धा शुक्ला उद्घाटन करेंगी।
इस अवसर पर डा•वीरेन्द्र तिवारी, निरंकार त्रिपाठी, धनेन्द्र त्रिपाठी, आदित्य तिवारी, एचसी शर्मा, सत्येन्द्र शर्मा, सुभाष शर्मा, रागिनी चन्द्रा, रेखा मिश्रा, प्रेमलता मिश्र, सुशील राय, दीपक शर्मा, मनोज गुप्त एवं अनेक चित्रकार,कलाकार एवं गणमान्य लोग काव्यरस का आनन्द लेते रहे।