स्वागत नव वर्ष में आपका हर दिन मंगलमय हो
वर्ष के पूरे 365 दिन ही शुभ और मंगलमय हो ।।
विदा करें विगत वर्ष को जिसमें मिले कुछ कटु मृदु अनुभव
कुछ खट्टी कुछ मीठी यादें बीते साल के कुछ नए अनुभव ।।
जीवन माला से बेशक कम हो गए एक और मोती
मन में संतोष हुआ बेशक निकला एक सुखद मोती ।।
जीवन के इस दौर में बढ़ा एक साल का नया अनुभव
जीवन जीने की कला में जुड़ा एक साल का बड़ा अनुभव ।।
अपनों संग साथ बिताए साल के कुछ अच्छे दिन
कभी सफलता तो कभी निराशा भरा बिता वह साल के दिन ।।
जब हासिल किया नई ऊंचाई तब हुआ कुछ मृदु एहसास
लेकिन जब हाथ लगी निराशा तो पाया कुछ कटु एहसास ।।
इसी कटु और मृदु तथ्यों पर अब विचार करना है
हम मानव की इसी कमी को अब खुद हीं तो भरना है ।।
अब आशा आने वाले साल से कुछ अच्छा हीं होगा
साल के अगले 365 दिन मंगल मंगल हीं होगा ।।
नववर्ष लेकर आया है नवीन और नूतन प्रभात
खग बिहग की चीहुँक करा रही इसका नव एहसास ।।
नव ऊर्जा संग नए जोश संग करना है इसका आगाज
पिछले वर्ष की पिछली गलती को सुधार कर करें कुछ नया आगाज ।।
नमन करें उस सत्पुरुषों को जिसका छूटा समाज से साथ
उनके नेक विचारों से अब गढ़ना एक नया समाज ।।
कवि कमलेश झा नगरपारा भागलपुर बिहार
999089137
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