अवध कम्बाइन्ड नाट्य एकेडमी द्वारा रंग कला उत्सव-2024 का किया गया आयोजन

सांस्कृतिक कार्यक्रम हास्य नाटक “देव की पारो” का बेहतरीन मंचन

बच्चों के शानदार नृत्य प्रदर्शन ने जीता लोगो का दिल

लखनऊ।अवध कम्बाइन्ड नाट्य एकेडमी लखनऊ द्वारा आयोजित रंग कला उत्सव-2024 सांस्कृतिक कार्यक्रम हास्य नाटक ‘देव की पारो’ रंगमंडल की नाट्य प्रस्तुति वाल्मीकि रंगशाला प्रेक्षागृह संगीत नाटक अकादमी गोमती नगर लखनऊ में इमरान खान के निर्देशन में किया गया।इस आयोजन में मुख्य अतिथि के रूप में अब्दुल वहीद,जुबैर अहमद,अनुराग श्रीवास्तव,मोहित बरूआ,नीशू त्यागी मौजूद रहीं।इस अवसर पर संस्था के सचिव इमरान खान और कार्यक्रम अध्यक्ष राधिका वर्मा ने अतिथियों का स्वागत पुष्प गुच्छ,अंगवस्त्र और प्रतीक चिन्ह देकर किया।कार्यक्रम की शुरूआत गणेश वंदना से की गई।

कार्यक्रम में “देव की पारो” नाटक का शानदार मंचन किया गया।

हास्य की चाशनी में डूबा नाटक ‘देव की पारो’ देव पार्क में रोज की तरह इंतजार करता है जहां उससे पारो मिलने आती है देव पारों का इंतजार कर रहा हैं पारो देर से आती है वो पारों की फोटो निकालकर उससे बाते करने लगता है तभी उसको नींद आ जाती है वो सपने में देखता है कि पारो आयी और कहती है मेरी मंगनी हो गयी है चार दिन बाद मेरी शादी है देव पूरी तरह से दुःखी हो जाता है और पारो की अंगूठी हाथ से ले लेता है और उसे खाकर सपने में ही उसकी मौत हो जाती है तभी सपने में यमराज और उसके दूत आ जाते है जो उसको स्वर्ग ले जाने लगते है वह कहता है मैं पारो के बिना नहीं जाऊँगा दूत कहता है ये बहुत सिरफिरा आशिक मालूम होता है इसी में देव से यमराज और उसके दूत से नोक-झोक होने लगती है तभी पारो आकर देव को आवाज लगाती है तभी देव की आंख खुल जाती है और ढूंढता है कि यमराज और उसके दूत कहां गये। पारो देव से कहती है कि क्या कोई सपना देख रहे थे देव कहता है हाँ, मैं सपना देख रहा था कि तुम्हारी शादी कहीं और हो रही है तभी पारो कहती है मेरी शादी होगी तो तुमसे होगी क्यूंकि डैडी शादी के लिए मान गये है। तब दोनो खुश हो जाते है। इस नाटक के लेखक/निर्देशन इमरान खान थे।

मंच पर देव की भूमिका शशांक शर्माती पाण्डेय,पारो की अनामिका सिंह,यमराज की अतुल द्विवेदी,यमदूत की रंजीत पाल,सपना सिंह,अमर पाठक आदि ने भूमिका निभाई।मंच का प्रस्तुति नियंत्रण-मो० रहमान,नृत्य निर्देशन – अंकिता बाजपेयी के द्वारा हुआ।

जिसमें गणेश वंदना (समूह नृत्य- गणपति गणेश),गार्गी द्विवेदी- कथक

अराध्या व आयत- उई मां उई मां ये क्या हो गया, साक्षी यादव- एकल नृत्य,गार्गी द्विवेदी- एकल नृत्य, राम स्तुति- समूह नृत्य,गायन में अमर पाठक, सलीम खान ने अपनी बेहतरीन भूमिका निभाई।कार्यक्रम का संचालन नीशू त्यागी द्वारा किया गया।अंत में कार्यक्रम के मुख्य अतिथि उत्तर प्रदेश जिला मान्यता प्राप्त पत्रकार एसोसिएशन के महामंत्री अब्दुल वहीद,सचिव जुबैर अहमद द्वारा कलाकारों को सम्मानित भी किया गया।इस शानदार कार्यक्रम का आयोजन उ०प्र० संगीत नाटक अकादमी की रसमंच के अंतर्गत किया गया।